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सच्चे मित्रों की पहचान

 


एक छोटे से जंगल में एक बड़ा हाथी रहता था, जिसका नाम था राजा। राजा जंगल का सबसे शक्तिशाली और सम्मानित प्राणी था। सभी जानवर उसकी इज्जत करते थे और उसकी बात मानते थे।

लेकिन एक दिन, राजा की शक्ति कम होने लगी। उसकी उम्र बढ़ रही थी और उसकी शारीरिक क्षमता कम हो रही थी। जंगल के अन्य जानवरों ने इसका फायदा उठाना शुरू कर दिया।

एक दिन, जब राजा बीमार पड़ गया और जंगल के एक हिस्से में गिर गया, तो अन्य जानवरों ने अपने अपने दाव निकालने शुरू कर दिए। एक शेर ने राजा के क्षेत्र पर कब्जा करने की कोशिश की, जबकि एक बंदर ने राजा के पेड़ों पर अपना अधिकार जमाने की कोशिश की।

जंगल के अन्य जानवरों ने भी अपने अपने हितों को साधने की कोशिश की। लेकिन राजा के कुछ वफादार साथी अभी भी उसके साथ खड़े थे और उसकी मदद करने की कोशिश कर रहे थे।

इस कहानी से हमें यह सीखने को मिलता है कि जब कोई शक्तिशाली व्यक्ति या नेता कमजोर होता है, तो अन्य लोग अपने हितों को साधने की कोशिश करते हैं। लेकिन यह भी महत्वपूर्ण है कि वफादारी और समर्थन के बिना कोई भी नेता या व्यक्ति सफल नहीं हो सकता है।

नैतिकता

इस कहानी की नैतिकता यह है कि सच्चे साथी और वफादारी ही किसी भी नेता या व्यक्ति की सच्ची ताकत होती है। जब तक राजा के पास उसके वफादार साथी थे, तब तक वह जंगल का सम्मानित नेता था। लेकिन जब उसके साथी उसे छोड़ने लगे, तो उसकी शक्ति कम होने लगी।

 

जब शक्ति कम होती है, तो साथी कम हो जाते हैं,

जो पहले साथ थे, वे अब दूर हो जाते हैं।

एक समय था जब सब साथ थे,

अब सब अपने अपने रास्ते पर हैं।


शक्ति की चमक में सब आते हैं,

लेकिन जब अंधेरा होता है, तो सब चले जाते हैं।

सच्चे साथी वही हैं जो साथ रहते हैं,

जब शक्ति कम होती है, तब भी साथ रहते हैं।


इसलिए सच्चे साथियों की पहचान करो,

जो साथ रहते हैं जब शक्ति कम होती है।

वफादारी और सच्चाई की निशानी है,

जब साथ रहते हैं जब शक्ति कम होती है।

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